सियाचीन : सियाचीन ग्लैशियर में करीब 6 दिनों तक बर्फ के नीचे दबे रहने के चलते लांसनायक हनुमंथप्पा कोपड़ की हालत खराब हो गई। चिकित्सकों ने उन्हें लेकर मेडिकल बुलेटिन जारी किया। उनके अंगों ने कार्य करना बंद कर दिया है। हालांकि हनुमंथप्पा को अस्पताल में भर्ती किए जाने के समय उनके अंग कार्य कर रहे थे लेकिन अब किडनी और लिवर ने कार्य करना बंद कर दिया है। चिकित्सकों ने कहा है कि उनकी हालत बेहद गंभीर है।
हनुमंथप्पा के लिए 24 घंटे बेहद महत्वपूर्ण माने जा रहे हैं। हनुमंथप्पा के ब्रेन में आॅक्सीजन की कमी मानी जा रही है। दोनों ही फेफड़े निमोनिया से ग्रस्त हो गए हैं। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान के चिकित्सकों का दल उनके उपचार में जुटा है। तो दूसरी ओर हनुमंथप्पा की जान बचाने के लिए सेवानिवृत्त सीआईएसएफ हेड काॅन्स्टेबल प्रेम स्वरूप आगे आए हैं उन्होंने हनुमंथप्पा की जान बचाने के लिए अपनी किडनी दान करने की पेशकश की है।
यही नहीं सरिता नामक महिला ने भी जवान की जान बचाने के लिए अपनी किडनी देने की पेशकश की है। उल्लेखनीय है कि हनुमंथप्पा के लिए देशभर में दुआऐं की जा रही हैं। मंदिरों में प्रार्थनाऐं, विशेष आयोजन और अनुष्ठान किए जा रहे हैं तो कुछ लोग मोबत्तियों के माध्यम से भी हनुमंथप्पा के लिए प्रार्थना कर रहे हैं।
हरिद्वार के गुरूकुल कांगड़ी विश्वविद्यालय की यज्ञशाला में हनुमंथप्पा के स्वास्थ्य लाभ हेतु विद्यार्थियों और शिक्षकों ने यज्ञ किया है। इस दौरान महामृत्युंजय मंत्र का जप भी किया गया। विश्वविद्यालय के कुलपति, कुलसचिव और बड़े पैमाने पर छात्राऐं भी विशेष अनुष्ठान में शामिल हुए।