इजहार और इंकार

रिश्ता वो नहीं जिसमे जीत और हार हो, रिश्ता वो नहीं जिसमे इजहार और इंकार हो, रिश्ता तो वो है जिसमे किसी की.. उम्मीद ना हो लेकिन फिर भी उसका इन्तेजार हो।

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