ACB में दो प्रमुख अधिकारीयों के बीच गहमागहमी

दिल्ली : दिल्ली में एंटी करप्शन ब्यूरो प्रमुख ने सरकार को चिट्ठी लिखकर आरोप लगाया है कि एजेंसी के अन्य प्रमुख मुकेश मीणा से उन्हें जान का खतरा है. यादव ने मीणा पर काम में दखलंदाज़ी करने और दबाव बनाने की भी शिकायत की है.  साथ ही सरकार से अपील भी की है कि मीणा के विरुद्ध मामला दर्ज किया जाए. इस मामले की जानकारी  आम आदमी पार्टी प्रवक्ता कुमार आशुतोष द्वारा ट्विटर पर दी गयी. आशुतोष ने बताया कि मीणा के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप है. इसलिए उन्हें एफआईआर संबंधी दस्तावेज नहीं सौपने चाहिए.

ध्यान देने योग्य बात है कि दस्तावेजों को यादव और मीणा के बीच बुधवार शाम जमकर बहस हुई थी. प्राप्त सूचना के आधार पर यादव के दफ्तर में दोनों के बीच लगभग तीन घंटे तक बहुत बहस चलती रही. मीणा ने यादव से रोजनामचा रजिस्टर (एफआईआर बुक) मांगी थी. यह वो रजिस्टर होता है जिसमें ड्यूटी ऑफिसर थाने में आने वाली शिकायतों को दर्ज करता है.

यादव ने ये दस्तावेज मीणा के देने से साफ़ मना कर दिया. यादव ने कहा कि दिल्ली सरकार ने मुकेश मीणा की एसीबी में ज्वॉइंट कमिश्नर के पद पर नियुक्ति का निरस्तीकरण कर दिया है. इसलिए गोपनियता को ध्यान में रखते हुए मीणा को एफआईआर बुक नहीं दी जा सकती है. आपको बता दे कि एसएस यादव को दिल्ली सरकार ने और मुकेश मीणा को उप राज्यपाल नजीब जंग ने एसीबी प्रमुख का पद भार दिया गया है.

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