पटना : बिहार में महागठबंधन की सरकार के शपथ ग्रहण समारोह में अब बस कुछ ही दिन बचे हैं। ऐसे में जेडीयू और अन्य घटक दलों द्वारा अपने-अपने मेहमानों को निमंत्रित करने की तैयारी चल रही है। नीतीश के शपथ ग्रहण समारोह में यूं तो कांग्रेस, जेडीयू और अन्य दलों के दिग्गज शामिल होंगे लेकिन सबसे प्रमुख बात यह है कि महागठबंधन ने अपने प्रतिद्वंदी रहे एनडीए के नेताओं को भी निमंत्रण भेजा है। ऐसे में केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह को निमंत्रण भेजा गया है तो दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी के नेता लालकृष्ण आडवाणी और शत्रुघ्न सिन्हा को भी निमंत्रित किया गया है। दूसरी ओर प्रतिद्वदी के तौर पर प्रमुख प्रचारक रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी नीतीश के शपथ ग्रहण समारोह का निमंत्रण भेजा गया है। हालांकि अभी यह तय नहीं है कि प्रधानमंत्री शपथ ग्रहण में पहुंचेंगे या नहीं मगर उन्होंने अपना निमंत्रण पत्र प्रेषित किया है। दूसरी ओर शिवसेना और अन्य दलों को भी निमंत्रण भेज दिया गया है। भाजपा नेताओं को निमंत्रण मिलने के चलते पार्टी में खलबली मची हुई है। देश में होने वाले चुनावों की रणनीति को लेकर उपस्थित लोगों की भूमिका महत्वपूर्ण मानी जा रही है। दरअसल चुनाव प्रचार में भाजपा की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जेडीयू नेता पर तीखे वार किए तो दूसरी ओर जेडीयू और आरजेडी की ओर से नीतीश लालू ने भाजपा, एनडीए पर सवालों की बौछार की। शिवसेना को दिए गए निमंत्रण को लेकर शिवसेना प्रमुख उद्धव ने इसे स्वीकार कर लिया है। 20 नवंबर को आयोजित होने वाले शपथ ग्रहण समारोह में नेशनल कांफ्रेंस के कार्यकारी अध्यक्ष और जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला, उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव आदि शामिल रहेंगे।