मदर्स डे : माँ के चरणो में होती है जन्नत, नेपाल के लोग जाते है मातातीर्थ पर

माँ के चरणो में सारी दुनिया होती है। माँ पहले एक बेटी, बहन, बीवी, बहू और फिर माँ बनकर अपनी पूरी जिन्दगी जिम्मेदारियों को बखूबी निभाती है। माँ की महिमा को शब्दों में वर्णन कर पाना बहुत ही मुश्किल है। माँ का अपना महत्व है। पूरे विश्व की जननी है माँ। भगवान ने नारी को बनाकर और उसे माँ के वात्सल्यपूर्ण शब्द से नवाज कर पूरी दुनिया पर एक बहुत ही बड़ा उपकार किया है।

आसमान ने माँ का अनोखा वर्णन किया है कहा है की, माँ एक इन्द्रधनुष है, जिसमें सभी रंग समाये हुए हैं। किसी शायर ने कहा है, माँ एक ऐसी ग़ज़ल है, जो सबके दिल में उतरती चली जाती है। माली ने अपने शब्दों में कहा है की, माँ एक दिलकश फूल है, जो पूरे गुलशन को मह्काता है। किसी सपूत ने कहा है, माँ ममता का अनमोल खजाना है, जो हर दिल पर कुर्बान है। वेदो के धनी महर्षि वाल्मीकि ने कहा है की, माता का स्थान स्वर्ग से भी ऊँचा है। वेद व्यास ने कहा है की, माता के समान कोई गुरु नही है। पैगम्बर मोहम्मद साहब ने कहा, माँ वह हस्ती है, जिसके कदमों के नीचे जन्नत है।

नेपाल एक ऐसा देश है जहा माता तीर्थ की यात्रा पर जाना प्रचलित हैं। यह त्यौहार बैशाख महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या के दिन आता है, जिसमें जीवित माताओं को उपहार दिया जाता है तथा स्वर्गीय माताओं का स्मरण किया जाता हैं। नेपाल की परंपरा में मातातीर्थ काठमांडू घाटी के ग्राम विकास समिति की परिधि के पूर्व में स्थित हैं।

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