सेब खाओ, बीमारी भगाओ

सेब के बारे में अंग्रेजी की कहावत तो अपने सुनी ही होगी और अगर नहीं सुनी तो हम आपको बता देते है., "एन एपल ए डे, कीप्स द डॉक्टर अवे" अर्थात् एक सेब जो रोज है खाता डॉक्टर को वह दूर भगाता. सेब सेहत के लिहाज से सबसे अच्छा फल माना जाता है. सेब में विटामिन सी और खास तौर पर रेशे बहुतायत में पाए जाते हैं. सेब के सेवन से ह्वदय रोग, कैंसर, मधुमेह के साथ ही दिमागी बीमारियों जैसे पार्किंसन और अल्जाइमर आदि में भी आराम मिलता है. 
 सेब पित्तनाशक, वातनाशक, पुष्टिकारक हृदय एवं गुर्दों के लिए फायदेमंद है. सेब में सर्वाधिक मात्रा में फास्फोरस होता है. इसके अतिरिक्त इसमें आयरन, प्रोटीन, कैल्शियम, कार्बोहाइड्रेट तथा विटामिन-बी भी पर्याप्त मात्रा में होते हैं. यह हृदय रोग में बहुत लाभकारी है. पथरी रोगी के लिए सेब बहुत फायदेमंद है. रोगी को चार से पांच सेब प्रतिदिन खाने चाहिएं. हृदय रोगियों को दिन में भोजन से पहले दो सेब खाने चाहिएं. कमजोर नेत्र ज्योति वालों को भोजन के साथ प्रतिदिन ताजा मक्खन तथा मीठा सेब खाना चाहिए. बुखार में रोगी को प्यास, जलन, थकान तथा बेचैनी हो तो सेब का रस पिलाना चाहिए. सेब का रस गले में घाव, छालों आदि से राहत देता है. सेब पेट के लिए बहुत लाभकारी है, इससे पेट में गैस नहीं बनती एवं पेट में कीड़े भी पैदा नहीं होते. दो मीठे सेब या सेब का एक गिलास ताजा रस प्रतिदिन पीने से पेट के कीड़ों से राहत मिलती है एवं कब्ज भी दूर होती है. 
प्रतिदिन सुबह खाली पेट दो सेब चबाकर खाने से अग्रिमांद्य दूर होता है और भूख भी बढ़ जाती है. सेब में मौजूद फ्लेवोनॉयड्स फेफड़ों को स्वस्थ रखते हैं. नियमित रूप से सेब के रस का प्रतिदिन सेवन करने से फेफड़े अधिक मजबूत होते हैं, उनकी कार्यक्षमता भी बढ़ती है. ज्यादा वजन के कारण होने वाले हृदय रोग, उक्त रक्तचाप, मधुमेह जैसी बीमारियों से राहत दिलाने में सेब का सेवन लाभदायक है. सेब में पर्याप्त मात्रा में मौजूद फाइबर वजन कम करने में मदद करते हैं। सेब के मुरब्बे का सेवन करने से मोटापा भी दूर होता है. नींद न आती हो तो सोने से पहले मीठे सेब के मुरब्बे के साथ गुनगुना दूध पीएं. एक गिलास सेब के रस में मिश्री मिलाकर प्रतिदिन सुबह नियमित रूप से पीने से पुरानी से पुरानी खांसी भी ठीक हो जाती है. सिरदर्द, चिड़चिड़ापन, बेहोशी या उन्माद की शिकायत से ग्रस्त व्यक्ति को भोजन से पहले दो मीठे सेबों का सेवन करना चाहिए. सेब खाने से मस्तिष्क की कमजोरी दूर होती है. दोपहर तथा रात को कच्चे सेब की सब्जी मस्तिष्क के रोगों में लाभ पहुंचाती है. 
रोज शाम को एक मीठा सेब तथा रात को एक गिलास सेब का शरबत पीने से रोगी को अतिशीघ्र लाभ होता है. आंखों के रोगी इसकी पुल्टिस बनाकर आंखों पर रखें और ताजे सेब को मक्खन के साथ खाएं. इससे पेशाब खुलकर आएगा तथा चेहरे की रंगत भी सुर्ख हो जाएगी. बुखार में रोगी को ताजे सेब का रस पिलाने से फायदा होता है. गले में खराबी आने पर ताजे सेब का रस कुछ देर गले में ही रोक कर रखें. यह पेट के कीड़े, कब्ज और अम्लता को दूर करता है. बिच्छू के काटने पर, सेब के ताजे रस में आधा ग्राम कपूर मिलाकर हर आधे घंटे बाद पिलाएं. शरीर में रक्त की कमी हो, उच्च रक्तचाप हो तो सेब का सेवन अति लाभदायक है. पुराने सिर दर्द में रोज एक सेब नमक लगाकर खाएं. इसका सेवन दांतों और मसूढ़ों को मजबूत और कीटाणु रहित बनाता है. खांसी में सेब के रस में मिश्री मिलाकर पिएं.

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