अपनी पार्टी के विधायक को निलंबित किए जाने के विरोध में उतरे ओवैसी

नई दिल्ली : अपनी ही पार्टी के विधायक वारिस पठान को महाराष्ट्र एसेंबली से सस्पेंड किए जाने के खिलाफ एमआईएमआईएम के नेता असदुद्दीन ओवैसी उनके समर्थन में उतर आए है। ओवैसी ने कहा कि भारत के इतिहास में पहली बार किसी को नारे के लिए निलंबित किया गया है। ओवैसी ने पठान के निलंबन को गलत ठहराते हुए कहा कि संसद और विधानसबा बहस करने के लिए एक प्लेटफॉर्म देता है। जहां नारेबाजी करना गलत है।

ओवैसी ने मोदी को निशाने पर लेते हुए कहा कि स्वंय पीएम भी कहते है कि वो भारतीय संविधान का अनुसरण करते है, तो उशी संविधान में कहां लिखा है कि किसी नारे को न लगाने पर किसी निर्वाचित सदस्य को निलंबित कर दिया जाएगा। आगे ओवैसी ने कहा कि हम अंधकार की ओर जा रहे है। इस निलंबन प्रस्ताव का समर्थन करके कांग्रेस और एनसीपी भी बेनकाब हो गई है। बीजेपी के राम कदम ने वारिस से भारत माता की जय बोलने को कहा, इस पर पठान ने कहा कि वो जय हिंद बोलेंगे लेकिन भारत माता की जय कभी नहीं बोलेंगे।

इस इंकार के बाद विधानसभा में जमकर हंगामा हुआ और अन्य पार्टियों ने पठान के निलंबन की मांग की। इसके बाद पठान के खिलाफ सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित हुआ और उन्हें निलंबित कर दिया गया। अपने निलंबन के बाद पठान ने कहा कि मैं अपने देश से प्यार करता हूँ, मैं यहीं पैदा हुआ हूं और यहीं मरुंगा, लेकिन भारत माता की जय नहीं बोलूंगा।

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